उत्तराखंड

Covid-19 Update: उत्तराखंड में कोरोना के 5 हजार नए केस, 81 मरीजों की मौत, धीमी पड़ी टेस्टिंग रफ्तार

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उत्तराखंड में वर्तमान में 33 हजार से अधिक एक्टिव केस हैं. (सांकेतिक फोटो)

उत्तराखंड में वर्तमान में 33 हजार से अधिक एक्टिव केस हैं. (सांकेतिक फोटो)

उत्तराखंड (Uttarakhand) में हर दिन आंकड़े बढ़कर आ रहे हैं. वहीं, हॉस्पिटल भी कमोबेश ओवरलोड हो चुके हैं. एम्स ऋषिकेश में शाम साढ़े छह बजे तक बिना ऑक्सीजन वाले बीस बेड में से 19 फुल थे.

देहरादून. उत्तराखंड (Uttarakhand) में शनिवार को कोरोना वायरस (Corona virus) के पांच हजार नए केस मिले हैं. एक दिन में पांच हजार पॉजिटिव केस (Positive case) उत्तराखंड में कोरोना संक्रमण शुरू होने से लेकर अब तक का सबसे बड़ा आंकड़ा है. शनिवार को 81 मौते भी हुईं और मौतों का ये आंकड़ा भी अब तक का सर्वाधिक है. उत्तराखंड में हर दिन आंकड़े बढ़कर आ रहे हैं. वहीं, हॉस्पिटल भी कमोबेश ओवरलोड हो चुके हैं. एम्स ऋषिकेश में शाम साढ़े छह बजे तक बिना ऑक्सीजन वाले बीस बेड में से 19 फुल थे. ऑजचलुबबनक्सीजन वाले तीन सौ बेड में से मात्र 41 बेड खाली थे, जबकि 70 आईसीयू बेड में से 55 बेड फुल हो चुके थे.

सीएमआई देहरादून में जनरल वार्ड में कोविड पेंशेंट को डेडिकेटेड आठ बेड फुल हो चुके थे. 70 ऑक्सीजन बेड में से तीस फुल हो चुके थे. आईसीयू के सभी छह बेड मरीजों से भरे हुए थे. दून हॉस्पिटल के जनरल वार्ड में 23 में से 11 बेड खाली थे, तो ऑक्सीजन के 280 बेड में से मात्र 17 बेड ही खाली थे. आईसीयू के 104 में से मात्र पांच बेड खाली थे.

55 बेड भरे हुए हैं
राजधानी के बड़े प्राइवेट हॉस्पिटलस में एक कैलाश हॉस्पिटल कोविड पेशेंट से पैक है. यहां जनरल के सभी 64 बेड, ऑक्सीजन वाले सभी 120 बेड और आईसीयू के सभी 56 बेड मरीजों से फुल हैं. हल्द्ववानी के सुशीला तिवारी हॉस्पिटल में 370 ऑक्सीजन बेड में से 291 बेड फुल हैं, तो आईसीयू के सभी 55 बेड भरे हुए हैं.सैंपल का बैकलॉग बना हुआ है

उत्तराखंड में वर्तमान में 33 हजार से अधिक एक्टिव केस हैं. इनमें पचास फीसदी से अधिक लोग होम आईसोलशन में हैं. राज्य में प्रतिदिन तीस हजार से लेकर चालीस हजार के बीच सैंपल लिए जा रहे हैं. कोरोना का टेस्ट कर रही लैबों पर भी भारी दबाव है. इसीका नतीजा है कि 22 हजार से अधिक सैंपल का बैकलॉग बना हुआ है.

संक्रमण दर 29 और 28 फीसदी तक पहुंच गई है
लेकिन, जिस तरह बड़े लेवल पर कोविड के पेशेंट मिल रहे हैं, उसे देखते हुए टेस्ट की मात्रा बढ़ाने के साथ ही कोरोना टेस्टिंग लैबों की कैपासिटी भी बढ़ाने की जरूरत है. कोरोना के आंकड़ों पर लंबे समय से लगातार स्टडी कर रहे सोशल एक्टिविस्ट अनूप नौटियाल बताते हैं कि उत्तराखंड में अभी भी एक लाख की आबादी पर हजार टेस्ट भी नहीं हो रहे हैं. पिथौरागढ़, अल्मोड़ा, यूएसनगर, टिहरी, नैनीताल, बागेश्वर, चमोली, चम्पावत, रूद्रप्रयाग, पौड़ी, उत्तरकाशी जैंसे जिलों में तो टेस्टिंग की बेहद लचर परफार्मेँस हैं. यहां एक लाख की आबादी पर प्रतिदिन करीब 48 से लेकर 127 तक टेस्ट किए जा रहे हैं, जो नाकाफी है. पौड़ी और टिहरी जैंसे जिलों में पिछले तीन दिनों में संक्रमण दर 29 और 28 फीसदी तक पहुंच गई है.





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