उत्तराखंड

दिल्ली देहरादून एक्सप्रेस वे पर बनेगा भारत का पहला एलिवेटेड वाइल्ड लाइफ कॉरिडोर, जानें इसकी खासियत

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(अनुपम त्रिवेदी)

नई दिल्ली. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) आज उत्तराखंड की राजधानी देहरादून का दौरा करेंगे. इस दौरान 18,000 करोड़ रुपये की लागत वाली अलग-अलग प्रोजेक्ट्स का उद्घाटन और शिलान्यास करेंगे. देहरादून में आयोजित एक समारोह में प्रधानमंत्री दिल्ली-देहरादून आर्थिक कॉरिडोर सहित 11 विकास परियोजनाओं की आधारशिला रखेंगे. कॉरिडोर के बन जाने के बाद दिल्ली से देहरादून जाने के समय में काफी कमी आएगी. रास्ते में इस रोड पर एक 16 किलोमीटर लंबा एलिवेटेड वाइल्ड लाइफ कॉरिडोर ( Elevated Corridor ) बनाया जाएगा. इस रोड के नीचे से वन्य जीव बड़े आराम से चल फिर सकेंगे. देहरादून और मसूरी जाने वाले पर्यटक इस कॉरिडोर के मनोरम नज़ारे को देख सकेंगे.

ये एलिवेटेड कॉरिडोर सहारनपुर जिले के गणेशपुर-मोहंद को उत्तराखंड की राजधानी देहरादून से जोड़ेगा. ये राष्ट्रीय राजमार्ग 72A के 28 किलोमीटर के हिस्से के साथ चलेगा. ये इलाका हाथियों और वन्यजीवों के लिए जाना जाता है. जबकि मौजूदा टू-लेन हाईवे का इस्तेमाल जानवरों की आवाजाही के लिए किया जाएगा. एलिवेटेड कॉरिडोर से यात्रा के समय में भारी कमी आने की उम्मीद है.

घटेगा यात्रा का समय
जंगल के एक तरफ राजाजी टाइगर रिजर्व है. दो लेन वाला NH 72A उत्तराखंड के प्रवेश द्वार देहरादून तक जाता है. इस पर लोगों को फिलहाल भारी ट्रैफिक जाम का सामना करना पड़ता है. मोहंद और दाता काली मंदिर को जोड़ने वाले 12 किलोमीटर के हिस्से सहित 28 किलोमीटर के रास्ते में लोगों को जान-आने में भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. 40 मिनट की यात्रा पीक ट्रैफिक के दौरान 1-2 घंटे तक की होती है. राष्ट्रीय राजमार्ग अधिकारियों के अनुसार, पहाड़ी इलाकों में कुल 120 हॉरिजेंटल कर्व हैं जो वाहन की गति को 25-30 किमी प्रति घंटे तक कम कर देते हैं.

दो भाग में पूरा होगा प्रोजेक्ट
एक आधिकारिक नोट के अनुसार, एलिवेटेड हाईवे वन क्षेत्र से गुजरने वाली देश की पहली ऐसी सड़क होगी. 16 किलोमीटर का कॉरिडोर दो खंडों में बनाया जाएगा. पहला खंड मोहंद और दाता काली मंदिर के बीच 12 किलोमीटर की दूरी पर होगा. दूसरा खंड दात काली मंदिर से आगे आशरोड़ी तक 4 किमी का विस्तार होगा.

फिलहाल 40 मिनट की यात्रा पीक ट्रैफिक के दौरान 1-2 घंटे तक की होती है.

वन्यजीवों को देखने का भी मिल सकता है मौका
प्रोजेक्ट में शामिल एक सलाहकार एसबीएस नेगी ने News18 को बताया कि एलिवेटेड हाईवे मॉनसून नदी के साथ राजाजी टाइगर रिजर्व के बगल में चलेगा. उन्होंने कहा, ‘पुराना हाइवे से वन्यजीव आराम से निकल सकेंगे. आने-जाने के लिए एलिवेटेड हाईवे का इस्तेमाल किया जाएगा. दाता काली मंदिर पहुंचने में मुश्किल से 10 मिनट का समय लगेगा. इस दौरान लोगों को वन्यजीवों को देखने का भी मौका मिल सकता है.’

150 मिनट में दिल्ली से देहरादून
आधिकारिक नोट के अनुसार, आर्थिक कॉरिडोर दिल्ली और देहरादून के बीच ड्राइविंग समय को घटाकर 150 मिनट कर देगा. पीएचडी चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्रीज के क्षेत्रीय निदेशक अनिल तनेजा ने कहा कि कॉरिडोर से क्षेत्र में पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा. उन्होंने कहा, ‘पर्यटकों के लिए समय मायने रखता है और ये परियोजना निश्चित रूप से पहाड़ियों में पर्यटन उद्योग के लिए गेम चेंजर साबित होगी.’

कितना आएगा खर्चा
परियोजना की कुल लागत 8,300 करोड़ रुपये आंकी गई है और इसे 2024 के अंत तक पूरा करने की तैयारी है. एलिवेटेड हाईवे के लिए रास्ता बनाने के लिए 10,000 से अधिक पेड़ों को काटा जाएगा. 2,000 से अधिक पेड़, ज्यादातर साल वन में, देहरादून डिवीजन में काटे जाएंगे, वहीं यूपी वन डिवीजन में 10,000 से अधिक पेड़ काटे जाएंगे. डिविजनल फॉरेस्ट ऑफिसर (DFO) देहरादून, नीतीश मणि त्रिपाठी ने News18 को बताया, ‘एक्टिविस्ट ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया और मामले को आगे नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल के पास भेज दिया गया. ट्रिब्यूनल ने 2 दिसंबर को अपने आदेश में संबंधित पक्षों से एक हफ्ते में जवाब दाखिल करने को कहा था.

Tags: Dehradun news, PM Modi



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